नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने चक्रवात बिपरजॉय से निपटने के लिए की गई तैयारी को लेकर मोदी सरकार और तमाम सुरक्षाबलों की सराहना की है। वह शनिवार (17 जून) को कच्छ के जखाऊ में शेल्टर होम में सुरक्षित पहुंचाए गए लोगों से मिलने पहुंचे। इसके बाद उन्होंने कहा, “चक्रवात की खबरें आने के बाद लोगों के मन में काफी आशंकाएं थी। 140 किमी प्रति घंटे की रफ्तार के साथ जब यह चक्रवात आया तो इसमें किसी भी व्यक्ति की मौत नहीं हुई। यह एक क्लासिक उदाहरण है टीम वर्क का।”
अमित शाह ने आगे कहा, “बिपरजॉय के खतरे को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने समीक्षा बैठक रखी थी, जिसमें प्रशासन को सतर्क करने के लिए अलग-अलग बैठक, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग और सूचनाओं को आदन प्रदान हुआ। 140 किमी की रफ्तार के साथ चक्रवात जब तट से टकराता है और तीसरे दिन इसकी समीक्षा करते हैं तब पता चलता है कि एक भी व्यक्ति की जान नहीं गई है, तब काम करने का संतोष होता है।”
सुरक्षाबलों की तारीफ करते हुए अमित शाह ने कहा कि एनडीआरएफ (NDRF) की 19 टीमें, एसडीआरएफ (SDRF) की 13 टीमें और रिर्जव 2 बटालियन ने मिलकर काम किया। भारतीय सेना, नौसेना, वायुसेना, कोस्ट गॉर्ड, बीएसएफ, स्टेट रिर्जव पुलिस, राज्य की पुलिस ने मिलकर काम किया है। मोबाइल टावर, अस्पताल जहां भी बिजली नहीं है वहां डिजी सेट लगाए गए हैं। बिजली सुचारु करने के लिए 1 हजार 133 टीमें लगी हैं। इनके साथ कल से 400 टीमें और जोड़ी जाएंगी।”
राज्य सरकार का अभिनंदन॥
शाह ने कहा कि केवल 47 लोग घायल हैं. इनमें भी किसी की भी हालत गंभीर नहीं है। उन्होंने इन सभी प्रयासों के लिए गुजरात सरकार का अभिनंदन किया। प्रधानमंत्री मोदी ने हालातों पर रात 1-1 बजे तक खुद नजर रखी। केंद्र और राज्य सरकार का बेहतर तालमेल रहा। 1600 गांवों में बिजली रीस्टोर कर दी गई है। 20 जून शाम 6 बजे तक सभी गांवों में बिजली रीस्टोर कर दी जाएगी।
किस तरह टाला गया खतरा?
अमित शाह ने बताया कि 1 लाख 8 हजार 208 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया। 73 हजार पशुओं को सही सलामत जगह पर पहुंचाया गया। 4317 होर्डिंग को समय से पहले हटा दिया गया। 21585 बोट जो समंदर में थी, उसे वापस लाया गया। 1 लाख से ज्यादा मछुआरों को बचाया गया। NDMA की गाइडलाइन का पूरी तरह से पालन किया गया।