पम्बेई (यूएनएलएफ-पी) के नेतृत्व में यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट के चौंतीस सशस्त्र विद्रोहियों ने म्यांमार से मणिपुर में प्रवेश करने की कोशिश करते समय असम राइफल्स के सामने आत्मसमर्पण कर दिया। स्वचालित हथियारों से लैस विद्रोहियों को म्यांमार के भीतर प्रतिद्वंद्वी पीपुल्स डिफेंस फोर्स (पीडीएफ) के भारी प्रतिरोध का सामना करने के बाद मणिपुर में शरण लेने के लिए मजबूर होना पड़ा। अधिकारियों के अनुसार, समूह को पीडीएफ की ओर से तीव्र गोलीबारी का सामना करना पड़ा, जिससे उनकी यात्रा खतरनाक हो गई।
उनके भागने के दौरान असम राइफल्स की सतर्क इकाइयों ने उन्हें सीमा पर रोक लिया। विद्रोहियों ने अपने हथियारों के साथ असम राइफल्स के सामने आत्मसमर्पण करने का फैसला किया। बाद में उन्हें मणिपुर पुलिस को सौंप दिया गया। माना जाता है कि आत्मसमर्पण करने वाले कैडर घाटी स्थित यूएनएलएफ-पी से हैं, जिसने 29 नवंबर, 2023 को केंद्र सरकार और मणिपुर सरकार के साथ युद्धविराम समझौता किया था।
मणिपुर में दो अलग-अलग घटनाओं में बृहस्पतिवार को पांच उग्रवादियों को गिरफ्तार किया गया। पुलिस के एक अधिकारी ने शुक्रवार को बताया कि राज्य के थौबाल जिले में राज्य पुलिस और असम राइफल्स के संयुक्त दल ने प्रतिबंधित संगठन कांगलीपाक कम्युनिस्ट पार्टी (पीपल वॉर ग्रुप) के चार उग्रवादियों को गिरफ्तार किया। अधिकारी ने बताया, ‘‘उग्रवादियों की मौजूदगी की खुफिया सूचना के आधार पर बृहस्पतिवार को यैरीपोक बाजार में समन्वित तरीके से अभियान चलाया गया और उग्रवादियों को गिरफ्तार कर लिया गया।’’